Got the information : इंदौर-राजेंद्रनगर (पटना) एक्सप्रेस ट्रेन के स्पीड पकड़ते ही एस-2 कोच तेजी से लहराने लगता था। ऐसा लग रहा था कि कोच का एलाइनमेंट ठीक नहीं था। ये बातें हैलट में भर्ती रेलवे के इंजीनियरिंग विभाग से सेवानिवृत्त गैंगमैन परमाकांत झा ने रेल पुलिस के डीजी गोपाल गुप्ता को सोमवार को निरीक्षण के दौरान बताईं। वह इंदौर-पटना एक्सप्रेस में इंदौर से सवार हुए थे।1बिहार के दरभंगा जिले के बड़की तरौनी, थाना बहेड़ा के मूल निवासी परमाकांत झा उज्जैन में रेलवे के इंजीनियरिंग विभाग में तैनात थे। इंदौर के गुलमोहर बाग कालोनी, एमआर-5 में घर भी बनवा लिया है। रेलवे से बीते 30 अक्टूबर को ही सेवानिवृत्त हुए हैं। जरूरी काम से बिहार स्थित अपने पैतृक घर जाने को पटना तक रिजर्वेशन कराया था। उनकी बर्थ एस-2 कोच के 71-72 नंबर आरएसी में थी, जबकि इंदौर के चौपाल विहार निवासी साथी रामू की बर्थ 63 थी। उन्होंने बताया कि...
more... शनिवार शाम ट्रेन उज्जैन से चार-पांच किलोमीटर आगे बढ़ी ही थी। जैसे ही ट्रेन स्पीड पकड़ती कोच तेजी से लहराने (हिलने) लगता। स्पीड कम होते ही लहराना बंद हो जाता था। इससे प्रतीत हो रहा था कोच के एलाइनमेंट में दिक्कत थी। इससे लगता है कि कोच की फिटनेस एवं मेंटीनेंस ठीक नहीं थी।