हमारे देश की 65% जनता से पूछकर किराया लिया जाये तो भारतीय रेलवे की हालत पाक रेलवे से भी बुरी हो जायेगी । जो पाकिस्तान लेकर यहीं रह गए उनको सब कुछ फुकेत का चाहिए, जायज है जो इस देश को अपना मानते ही नहीं हैं, यहाँ से भीख, ख़ैरात, लूट, छिनतई, ठग्गी करलें व्व उनका अपना हिडन एजेंडा है लेकिन इस देश के उत्तराधिकारी भी जब फ़ोकट का कहना चाहते है तो दुःख होता है कि अपने कुछ फायदा पाने के लिए देश में बैठे पाकिस्तान परस्तों को बहुत बड़ा हिस्सा फ़ोकट में लुटाया जा रहा है